HIT ** (News Rating Point) 11.06.2016
उत्तर प्रदेश में फैजाबाद जिले की गोसाईंगंज विधानसभा क्षेत्र के सपा विधायक अभय सिंह इस सप्ताह आरोप से बरी किये जाने की वजह से चर्चा में रहे. अभय सिंह समेत नौ लोगों को आरोपों से बरी कर दिया गया. इन लोगों पर रंगदारी वसूलने, भौतिक और आर्थिक लाभ प्राप्त करने के लिए गिरोह बनाने का आरोप था. हिंदुस्तान ने लिखा कि यह आदेश बुधवार को विशेष न्यायाधीश गैंगेस्टर कोर्ट के जज रूपचंद्र राम की कोर्ट से हुआ. वर्षों से फरार चल रहा मामले के एक आरोपी मेघराज सिंह उर्फ बादल ने बुधवार को कोर्ट में सरेंडर कर दिया. उसकी जमानत अर्जी खारिज करके कोर्ट ने न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया है. अमर उजाला ने अधिवक्ता सौरभ मिश्र के हवाले से लिखा कि घटना 29 नवंबर 2005 की है. तत्कालीन शहर कोतवाल रामपाल सिंह ने रिपोर्ट लिखाई थी. उसमें अभय सिंह (वर्तमान सपा विधायक) गिरीश कुमार पांडेय उर्फ डिप्पुल, विजय गुप्ता भूपेंद्र सिंह, अच्छूलाल, बृजेश पांडेय, रणधीर सिंह, बाबूलाल, राज किशोर उर्फ गुड्डू, मेघराज सिंह उर्फ बादल को आरोपी बनाया था. इन लोगों के ऊपर आरोप था कि जिला स्तर पर अभय सिंह का गिरोह है, जो अपने गैंग के लोगों को बदल-बदलकर इस जिले व समीपवर्ती जिलों में रंगदारी वसूलते हैं. गैंग के लोग अपनी गुंडई व दबंगई के बल पर पीडब्ल्यूडी, सिंचाई विभाग, ग्रामीण अभियंत्रण सेवा में किसी बाहरी व्यक्ति को टेंडर नहीं डालने देते. आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के नाम से टेंडर डालकर उसमें 10 फीसदी कमीशन लेकर कई छोटे सिकमी ठेकेदारों में बांट देते हैं. इसके बाद स्थानीय प्रशासन ने सबके खिलाफ गिरोहबंद अधिनियम के तहत कार्रवाई की थी. अदालत में पेश किए गए गवाह पूराबाजार पीएचसी के संगणक व ठेकेदार सत्य नारायण यादव पक्षद्रोही हो गए. कोर्ट ने बुधवार को सपा विधायक अभय सिंह समेत नौ लोगों को दोषमुक्त कर दिया.
(अखबारों, चैनलों और अन्य स्रोतों के आधार पर)