योगी का व्यावसायिक योग, छब्बीस देशों में छाएंगे यूपी के प्रोडक्ट

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आदेश शुक्ला
लखनऊ। यह खबर उनको जरूर पढ़नी चाहिए, जो योगी आदित्यनाथ को केवल एक राजनीतिज्ञ के तौर पर देखते हैं या उससे उससे बढ़कर सिर्फ एक हिंदू छवि वाले नेता के रूप में समझते हैं. योगी आदित्यनाथ ने खुद को एक कारोबार का विस्तार करने वाले मुख्यमंत्री के रूप में भी स्थापित किया है.
इसकी सबसे बड़ी वजह यह है कि पिछले साढ़े पांच सालों में साढ़े पांच वर्षों में जहां बड़े बड़े कारोबारियों में उत्तर प्रदेश में अपना उद्यम स्थापित करने में रुचि ली हैं, वही दूसरी तरफ उत्तर प्रदेश में बने उत्पादों का निर्यात बढ़ा है. योगी सरकार की औद्योगिक नीतियों और निर्यात को बढ़ावा देने के लिए उठाये गए कदमों की वजह से यह संभव हुआ है.
अब जल्दी ही उत्तर प्रदेश में बनने वाले उत्पाद कई अन्य देशों में छाएंगे. प्रदेश सरकार ने दस प्रमुख देशों के अलावा अब निर्यात के लिए यूरोप, मध्य पूर्व और अफ्रीका के 26 देशों में निर्यात को बढ़ावा देने की तैयारी कर ली है. इन देशों में खिलौने, वीडियो गेम्स, परिधान, चर्म उत्पाद, कारपेट, इलेक्ट्रानिक्स उत्पाद, आयरन और स्टील के सामान व फर्नीचर समेत ढेरों उत्पाद निर्यात करने की मुहिम तेज होगी.
उत्तर प्रदेश भारत में पांचवें सबसे बड़े निर्यात क्षेत्र के रूप में अब जाना जाता है. अभी अमेरिका व यूके समेत दस देश को यूपी से बड़े पैमाने पर सामान निर्यात किया जाता है. अब राज्य में बने उत्पादों का निर्यात बढ़ाने के क्रम में एमएसएमई विभाग के निर्यात प्रोत्साहन ब्यूरो ने करीब 26 और ऐसे देशों को चिन्हित किया है. अभी इन देशों में अभी यहां निर्यात के लिहाज से राज्य की मौजूदगी कम है. यह देश हैं, कनाडा, मैक्सिको, ब्राजील, बेल्जियम, डेनमार्क, इटली, मोरक्को, पोलैंड, स्वीडन, स्पेन, सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, तुर्की, नाइजीरिया, कतर, ओमान, ऑस्ट्रेलिया, बांग्लादेश, इंडोनेशिया, जापान, मलेशिया, फिलीपीन्स, दक्षिण कोरिया, सिंगापुर, थाईलैंड और ताइवान. अब इन देशों में निर्यात को बढ़ाने के लिए विशेष अभियान चलेगा.
निर्यात प्रोत्साहन विभाग के अफसरों के अनुसार, उक्त देशों में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए इन देशों में व्यापारिक एजेंट तलाशे जाएंगे. इनके जरिए वहां की खरीददारों, आयातक कंपनियों तक पहुंच कर उनके बीच यूपी के उत्पादों को प्रदर्शित किया जाएगा ताकि वहां से नए यूपी के निर्माताओं व निर्यातकों के लिए नए आर्डर मिल सकें. यही नहीं विदेशी खरीददारों को यूपी में आमंत्रित कर व्यापारिक सम्मेलन आदि आयोजित किये जाएंगे. इन देशों में भारतीय दूतावास के जरिए इस मुहिम को तेज किया जाएगा. इसके साथ ही भारतीय विदेश मंत्रालय के सहयोग से अंतर्राष्ट्रीय व्यापारिक संगठनों के समक्ष यूपी के नए उत्पाद पेश किए जाएंगे. और मंत्रालय यूपी के निर्यातकों व खास देश के खरीददारों की बैठक आयोजित करने में सहयोग करेगा. यहीं नहीं ट्रेड इवेंटस में यूपी की भागीदारी कराई जाएगी और यहां के निर्यातकों को वहां पवेलियन लगाने और अपने उत्पादों की मार्केटिंग के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा. अधिकारियों के अनुसार अभी यूपी में बने उत्पादों का सबसे अधिक निर्यात यूएसए, यूएई, नेपाल, यूके, जर्मनी, वियतनाम, नीदरलैंड, फ्रांस, चीन और इजिप्ट में होता है. और अब कनाडा, मैक्सिको, ब्राजील, बेल्जियम, डेनमार्क, इटली जैसे 26 देशों में भी निर्यात को बढ़ाने पर फोकस किया जाएगा. सरकार को उम्मीद है कि यूपी के ओडीओपी उत्पादों को उक्त देशों के लोग पसंद करेंगे.

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